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कुलपति ने राज्यपाल के आदेशों की उडाई धज्जिायं,डॉ. रक्षपाल पर लगे चुका है यौन शोषण का आरोप

बीकानेर। स्वामी केशवनंद राजस्थान कृषि विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. रक्षपाल सिंह के ऊपर पहले यौन शोषण का मामला दर्ज हुआ है। अब कुलपित पर फर्जी तरीके से भर्ती लेने का आरोप लगा है। यह आरोप स्वामी केशवनंद राजस्थान कृषि विश्वविद्यालय शिक्षक परिषद की अध्यक्ष डॉ. मीनाक्षी चौधरी ने  राज्यपाल को एक पत्र भेजा लगाया है।  उन्होंने बताया कि स्वामी केशवानंद राजस्थान कृषि विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ रक्षपाल सिंह द्वारा 30 मई को होने वाली बूम की मीटिंग में राज्यपाल राजस्थान सरकार के प्रबंध मंडल के निर्णय की धज्जियां उड़ाने बाबत राजस्थान सरकार के अनुसार राज्य सरकार में पत्राचार उनके द्वारा नियुक्त कुलसचिव लिंक अधिकारी यानी वित्त नियंत्रक द्वारा ही किया जाना प्रस्तावित है परंतु कुलपति इन दोनों को दरकिनार कर फर्जी तरीके से भर्ती का विज्ञापन जारी कर रहे हैं। कुलाधिपति सचिवालय के प्रमुख सचिव द्वारा जारी आदेश क्रमांक 543 1 फरवरी 22 के अनुसार, कुलपति अपने कार्यकाल समाप्ति के अंतिम तीन माह में किसी भी प्रकार का नीतिगत निर्णय नहीं ले सकते। बीकानेर के कुलपति डॉ आर पी सिंह की नियुक्ति 23-8-19 की है तथा कार्यकाल 22-8-22 को समाप्त हो जाएगा, इसलिए 22.5.2022 के बाद कुलपति कोई भी नीतिगत निर्णय लेने में सक्षम नहीं होने के कारण, 30.5. 22 को होने वाली मीटिंग स्थगित होनी चाहिए क्योंकि उक्त निर्णय कानूनन असंवैधानिक होंगे जिनका न्यायालय में चुनौती दी जा सकती है इससे विश्वविद्यालय पर अनुचित व्यय भार बढ़ेगा। चौधरी ने पत्र में बताया है कि 30 मई को होने वाली बूम मीटिंग में
राज्यपाल सचिवालय के निर्देश अनुसार भर्ती प्रक्रिया की कार्यवाही शुरू किए जाने से पूर्व राज्य सरकार की सहमति आवश्यक है परंतु आज दिनांक तक राज्य सरकार से प्राप्त नहीं हुई है, तथा बूम की पूर्व मीटिंग में  भी इस एजेंडे पर रोक लगा दी गई थी परंतु कुलपति अपनी बदनियति से इसे फर्जी तरीके से भर्ती करना चाहते हैं।यह कि उक्त मीटिंग अगले कुलपति को चुनने के लिए एजेंड की तरफ से सदस्य प्रस्तावित होना है, परंतु जानबूझकर इन्होने अपने हित साधने के लिए बूम मेम्बर्स को गुमराह करने के लिए इस बीओएम का खुलासा लिखित में नहीं किया है ताकि यह अपना मनचाहा अधिकारी नामित करवा सके। इस मामले को लेकर संभागीय आयुक्त नीरज के पवन ने भी सरकार को एक पत्र भेजकर बूम मीटिग नहीं करवाने के लिए लिखा है। लेकिन कुलपति किसी की नहीं सून रहे है और अपनी हठधार्मिता पर है। अब कुलपति डॉक्टर रक्षपाल सिंह राज्य सरकार, कुलाधिपति महोदय तथा समस्त बूम में हुए निर्णयों की धज्जियां उड़ाते हुए इस मीटिंग को ऑनलाइन/ वर्चुअल करने का फरमान जारी कर चुके हैं जिससे इनकी करतूतों पर पर्दा डाला जा सके। चौधरी ने यह पत्र मुख्यमंत्री, राज्यपाल, जिला कलक्टर को भेजी है।
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