एसपी प्रीति चंद्रा बडी कार्यवाही पकडी बडी गैग - Khulasa Online एसपी प्रीति चंद्रा बडी कार्यवाही पकडी बडी गैग - Khulasa Online

एसपी प्रीति चंद्रा बडी कार्यवाही पकडी बडी गैग

बीकानेर। कहते हैं पुलिस चाहे तो पाताल में छिपे अपराधियों को भी पकड़ कर बाहर ला सकती है। पिछले कुछ माह से बीकानेर पुलिस में भी ये शक्ति सक्रिय हो चुकी है। एसपी प्रीति चंद्रा से ऊर्जा पा चुकी पुलिस एक के बाद एक गैंग्स को सलाखों के पीछे डाल रही है। अब एसपी चंद्रा की विशेष टीम व पूगल पुलिस ने मिलकर दो जिलों में पेट्रोल पंप लूटने वाली गैंग को धर दबोचा है। पुलिस ने इस गैंग के पांच सदस्यों को दबोच लिया है, वहीं दो वांछितों की तलाश जारी है। गिरफ्तार बदमाशों की पहचान मुकाम निवासी 22 वर्षीय विनोद पुत्र भंवरलाल धारणिया, मुकाम निवासी 20 वर्षीय लेखराम पुत्र रामगोपाल विश्नोई थापन, जांगलू, पांचू निवासी 26 वर्षीय रामेश्वर पुत्र शंकरलाल विश्नोई, सुरजाना, नागौर निवासी सुरेश पुत्र रामनिवास व कुदसू, नोखा निवासी आदेश पुत्र श्रवण राम भादू बताई जा रही है। वहीं जांगूल, नोखा निवासी 20 वर्षीय महेंद्र पुत्र श्रवण राम विश्नोई व सलुण्डिया, नोखा निवासी 19 वर्षीय रामनिवास पुत्र बस्ती राम विश्नोई की तलाश की जा रही है। पुलिस ने आरोपियों से पूगल पेट्रोल पंप लूट में काम ली गई क्विड कार जब्त कर ली है। वहीं फरार अपराधियों से स्विफ्ट डिजायर भी बरामद की जाएगी। अब तक की पूछताछ में आरोपियों ने पांच पेट्रोल पंपों पर लूट करना कबूल किया है। आरोपियों ने 15 मार्च, 2021 की रात पौने तीन बजे नोखा के भट्टड़ पेट्रोल पंप, 16 मार्च की रात 2 बजकर तीन मिनट पर नागौर के पीपासर स्थित पेट्रोल पंप, 23 मार्च की रात तीन से चार बजे के बीच भामटसर, 24 मार्च की रात दो से चार बजे के बीच नागौर के कंवलीसर व 26 मार्च की रात साढ़े तीन बजे पूगल के 682 आरडी स्थित पेट्रोल को लूटा। पूगल पर हुई लूट के बाद एसपी प्रीति चंद्रा ने आरोपियों की धरपकड़ हेतु विशेष टीमें गठित की। एएसपी ग्रामीण सुनील कुमार के निर्देशन, सीओ खाजूवाला अंजुम कायल के सुपरविजन व पूगल थानाधिकारी महेश कुमार के नेतृत्व में गठित इस टीम में विशेष टीम के एएसआई रामकरण सिंह, हैड कांस्टेबल राजेंद्र कुमार 224, हैड कांस्टेबल दीपक यादव 261 साईबर सैल, हैड कांस्टेबल कानदान सांदू 223, हैड कांस्टेबल अब्दुल सत्तार, महावीर सिंह 250, कांस्टेबल धन्नाराम 2033, कृष्णलाल 1537, प्रेमचंद ड्राईवर 668, दलीपसिंह 1704 साईबर सैल, लखविंद्र सिंह 1318, वासुदेव 1069, योगेन्द्र कुमार 1519, सवाई सिंह राईका 1601, देवेंद्र 1391 व पूनम डीआर 696 को शामिल किया गया। टीमों को सीसीटीवी फुटेज, तकनीक, वैज्ञानिक सोच, मुखबिर आसूचना व फील्ड सूचना एकत्र करने के टास्क दिए गए। मुल्जिम इतने शातिर थे कि बाहरी सुनसान सडक़ों के पंपों को ही निशाना बनाते। आरोपी पहले पंपों की रैकी कर खराब अथवा बिना सीसीटीवी कैमरों वाले पंपों का चयन करते। वहीं आने जाने के रास्ते भी वही तय करते जहां कैमरे ना लगे हों। इसके अतिरिक्त जिन पेट्रोल पंपों पर कम कर्मचारी हो, उन्हीं को निशाना बनाते। लूट का समय रात दो बजे से चार बजे के बीच का ही रखते, ताकि अधिक परेशानी ना हो। ये शातिर लुटेरे पंद्रह सौ से दो हजार तक पेट्रोल भरवाने के बाद पेमेंट के लिए कार्ड स्वैपिंग मशीन मांगते, जैसे ही कर्मचारी ऑफिस रूम में मशीन लाने जाता, पीछे से घेराबंदी कर बंदूक की नोक पर उन्हें बंदी बना लेते। इस समय अक्सर एक कर्मचारी ही जागता मिलता है, दूसरा सोया रहता है। इस बात का फायदा भी बदमाशों को मिलता। कर्मचारियों को बंदी बनाने के बाद पैसे लूटकर फरार हो जाते। गहरी नींद वाले इस समय में कोई इन्हें आते जाते भी नहीं देख पाता, वहीं सीसीटीवी तो यहां होते ही नहीं। ऐसे में पुलिस के सामने भारी चुनौतियां आईं। लेकिन इन सब चुनौतियों के बावजूद पुलिस ने संदिग्धों को चिन्हित किया। हर एक लूट का विश्लेषण किया तो सामने आया तरीका ए वारदात एक जैसा है। आरोपी सभी जगह पेट्रोल भरवाते, कार्ड स्वैपिंग मशीन मांगते, समय रात का होता, पेट्रोल पंप बाहरी क्षेत्रों के होते तथा सीसीटीवी खराब अथवा नहीं होते, इस समानता की जांच करते हुए पुलिस टीम आगे बढ़ी। कुछ संदिग्धों को उठाकर पूछताछ की गई तो उन्होंने वारदात कबूल ली। वहीं अपने साथियों के नाम भी उजागर कर दिए। अब तक कबूली गई वारदातों में सबसे अधिक पैसा पूगल के पेट्रोल पंप से ही लूटा गया। यहां से लुटेरों को 63 हजार रूपए मिले, वहीं इससे पहले लूटे गए पेट्रोल पंपों से बदमाशों को दो पांच हजार ही मिले। पुलिस पूछताछ में और भी वारदातें खुलने की उम्मीद है। अब तक की पूछताछ में कबूली गई सभी वारदातें मार्च, 2021 में ही की गई थी। उल्लेखनीय है कि इन शातिरों को पकडऩे के लिए पुलिस टीमों को सभी पेट्रोल पंपे से निकलने वाले सभी रास्तों को दूर दूर तक खंगालना पड़ा। वहीं इस तरह की वारदातें करने वाले बदमाशों से पूछताछ करनी पड़ी। इस चुनौतीपूर्ण टास्क की सफलता में पूगल थाने के हैड कांस्टेबल राजेंद्र कुमार 224 व हैड कांस्टेबल दीपक यादव 261 साईबर सैल हीरो रहे।

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