
महिला कांग्रेस अध्यक्ष पर के लिए काउंटडाउन शुरु, ये चेहरे है शामिल






जयपुर। बीते माह 10 फरवरी से रिक्त चल रहे राजस्थान प्रदेश महिला कांग्रेस अध्यक्ष पद को लेकर अब काउंटडाउन शुरू हो चुका है। अध्यक्ष पद की दौड़ में शामिल महिला नेताओं ने जयपुर से लेकर दिल्ली तक लॉबिंग तेज कर दी है। गहलोत कैम्प से जुड़ी महिला नेताओं के साथ साथ सचिन पायलट कैम्प से जुड़ी महिला नेताओं ने भी अध्यक्ष बनने के लिए एड़ी चोटी का जोर लगा दिया है। माना जा रहा है कि जल्द ही प्रदेश महिला कांग्रेस को नया अध्यक्ष मिल सकता है।
दरअसल हाल ही में प्रदेश महिला कांग्रेस की अध्यक्ष रही रेहाना रियाज को राज्य महिला आयोग का चेयरमैन बनाए जाने के बाद रेहाना रियाज ने महिला कांग्रेस अध्यक्ष पद से इस्तीफा दे दिया था जिसके बाद से अध्यक्ष का पद रिक्त चल रहा है।
दो पूर्व मंत्री भी महिला अध्यक्ष की दौड़ में शामिल
विश्वस्त सूत्रों की माने तो राजस्थान प्रदेश महिला कांग्रेस पद के लिए तीन प्रमुख चेहरे दौड़ में शामिल हैं जो लगातार जयपुर से लेकर दिल्ली तक लॉबिंग करने में जुटे हुए हैं।
इनमें प्रमुख रूप से पूर्व मंत्री और जायल से विधायक मंजू मेघवाल, पूर्व मंत्री नसीम अख्तर इंसाफ और प्रोफेशनल कांग्रेस की अध्यक्ष रुक्क्षमणि कुमारी का नाम चर्चा में है। बताया जा रहा है कि कांग्रेस आलाकमान भी इन तीन नामों में से किसी एक नाम पर अपनी मुहर लगा सकता है।
युवा चेहरे भी दौड़ में शामिल
इसके अलावा महिला कांग्रेस की जयपुर देहात अध्यक्ष कविता गुर्जर और युवा कांग्रेस की प्रदेश उपाध्यक्ष संजीता सिहाग भी महिला कांग्रेस अध्यक्ष पद की दौड़ में शामिल है।
इसलिए भी अहम है महिला कांग्रेस अध्यक्ष का पद
दरअसल राजस्थान महिला कांग्रेस अध्यक्ष का पद इसलिए भी अहम है चूंकि महिला कांग्रेस को कांग्रेस संगठन की हरावल बिग्रेड माना जाता है। प्रदेश में साल 2023 में विधानसभा के चुनाव होने हैं जिसके मद्देनजर महिला कांग्रेस कार्यकर्ताओं को बड़ी जिम्मेदारी सत्ता और संगठन की ओर से दी जाएगी।
इसके अलावा सरकार की बजट घोषणाओं और फ्लैगशिप योजनाओं को महिला मतदाता तक पहुंचाने तक की जिम्मेदारी भी महिला कांग्रेस की रहेगी।
ऐसे में महिला कांग्रेस अध्यक्ष पद रिक्त रहने से सरकार का मिशन प्रभावित हो सकता है, इसलिए सत्ता और संगठन की भी जल्द से जल्द यही कोशिश होगी कि महिला कांग्रेस अध्यक्ष पद पर नियुक्ति कर महिला कांग्रेस को एक्टिव मोड पर लाया जाए, जिससे सरकार की फ्लैगशिप योजना और बजट में महिलाओं के लिए की गई घोषणाएं महिला मतदाताओं तक पहुंच सके और पार्टी विधानसभा चुनाव में महिला मतदाताओं को साधना में कामयाब हो जाए।


