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ऐसा क्या हुआ कि पांच गांवों के किसानों ने घेर लिया इस सरकारी कार्यालय को

बीकानेर। पिछले चार सालों से एक ही दिक्कत के समाधान के लिए विभाग द्वारा लगातार आश्वासन दिया जा रहा है और अब भी सुनवाई नही होने से आक्रोशित पांच गांवो के किसान ने सोमवार को एक्सईएन कार्यालय का घेराव कर लिया। गांव गुसाईसर बड़ा, डेलवा, लौड़ेरा, बिंझासर व राजपुरा के सैंकड़ो किसानों द्वारा समय समय अपनी दिक्कतें निगम जेईएन ओर एईएन तक पहुंचाई लेकिन सुनवाई नही हुई तो आक्रोशित हो गए। ऐसे में किसानों ने सामूहिक रूप से सोमवार सुबह एक्सईएन ऑफिस घेरा तो एक्सईएन भूराराम ने किसानों से समझाइश की। किसानो ने गुसाईसर जीएसएस के सभी फीडरों में 11 हजार के बजाय 7 हजार वोल्टेज ही रहने, इस कारण किसानों को 160 वाट सप्लाई मिलने, 33 केवी लाइन के बार बार फाल्ट कर नाम पर कटौती करने और कुंओ पर 2 से 3 घंटे ही सप्लाई मिलने व समस्या बताई। किसानो ने चार सालों से श्रीडूंगरगढ़ से गुसाईसर जीएसएस तक स्वीकृत 33केवी की नई लाइन को तुरन्त लगवाने, गुसाईसर से डेलवा नई लाइन लगवाने, डेलवा फीडर पर अत्यधिक लोड होने के कारण फीडर को हल्का करने और डेलवा में नया 33केवी जीएसएस स्वीकृत करवाने की मांग की। इस पर एक्सईएन ने सबंधित जेईएन को मौके पर बुलाने ओर सबंधित समस्याओं का यथासंभव त्वरि समाधान करवाने का आश्वासन दिया। लेकिन किसान पीछे नही हटे ओर जेईएन के आने, वार्ता होने व समस्या का समाधान होने तक एक्सईएन कार्यालय का घेराव कर बैठ गए। घेराव करने वाले किसानों में कानाराम। भादू ताराचंद सारस्वत, नन्द लाल गोदारा, जगदीश छिंपा, श्याम सुंदर मेघवाल, हनुमानदास स्वामी सहित बड़ी संख्या में किसान शामिल हैं। किसानों की सुनवाई नही करने की सूचना पर युवा नेता विवेक माचरा भी मौके पर पहुंचे और अधिकारियों के समक्ष रोष जताया। माचरा ने किसानों की समस्याओं को तुरन्त प्रभाव से दूर हो पाना संभव बताया और केवल अधिकारियों की इच्छाशक्ति की कमी से किसानों को लाखों का नुकसान होने की बात कही। घेराव की अगुवाई करते हुए माचरा ने किसान हितों की रक्षा के लिए सामूहिक संघर्ष करने का आह्वान किया। फिलहाल किसान एक्सईएन ऑफिस को घेर कर बैठे हैं और अधिकारी अंदर बन्द है।

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