बीकानेर संभाग का यह जिला खतरे के निशान से ऊपर, कोरोना संक्रमण बेकाबू - Khulasa Online बीकानेर संभाग का यह जिला खतरे के निशान से ऊपर, कोरोना संक्रमण बेकाबू - Khulasa Online

बीकानेर संभाग का यह जिला खतरे के निशान से ऊपर, कोरोना संक्रमण बेकाबू

राजस्थान में कोरोना की दूसरी लहर अब दम तोड़ रही है। पिछले 10 दिन से पूरे राजस्थान में हर रोज 150 से भी कम केस आ रहे है। एक्टिव केसों की संख्या भी 1312 पर आ गई है, लेकिन केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय की वेबसाइट पर जारी आंकड़े अब भी डरा रहे हैं। उन पर गौर करें तो अब भी राज्य के 33 में से 14 जिले ऐसे हैं, जहां कोरोना का कहर जारी है। इन जिलों में से 12 जिले तो ऐसे हैं, जहां टेस्ट पॉजिटिविटी रेट 10 से लेकर 29 फीसदी के बीच है। वहीं 2 जिले ऐसे हैं, जहां 5 से 10 फीसदी के बीच पॉजिटिविटी रेट बना हुआ है।

इन गलत डेटा का कारण है की प्रदेश से केवल पॉजिटिव आने वाले मरीजों की संख्या भेजी जा रही है। निगेटिव आने वाले मरीजों का डाटा न के बराबर शेयर किया जा रहा है। मंत्रालय की वेबसाइट से जारी डेटा देखें तो राजस्थान में सबसे ज्यादा पॉजिटिविटी रेट भरतपुर में 29.36% है। चित्तौड़गढ़, बारां और राजसमंद जिले में 20 फीसदी से ज्यादा संक्रमण दर है। वास्तविकता इससे अलग है। चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के मुताबिक और स्वास्थ्य विभाग के डेटा को देखें तो राज्य में पिछले एक सप्ताह की पॉजिटिविटी रेट 0.30 फीसदी से भी कम है।

14 जिले खतरे के निशान से ऊपर

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय यह मानता है कि जिन क्षेत्रों में टेस्ट पॉजिटिविटी रेट 5 फीसदी या उससे ज्यादा होती है, वहां सक्रमण बेकाबू होता है। मंत्रालय की वेबसाइट से जारी डेटा के मुताबिक, राजस्थान के 14 जिले ऐसे हैं, जहां संक्रमण अब भी बेकाबू है। इसमें भरतपुर, चित्तौड़गढ़ बारां, राजसमंद के अलावा सीकर, चूरू, टोंक, पाली, सिरोही, जोधपुर, डूंगरपुर, धौलपुर, सवाई माधोपुर और जैसलमेर शामिल हैं।

गफलत इसलिए और यह है हकीकत

चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के सूत्रों के मुताबिक, राज्य में कोरोना संक्रमण की जांच और उसके डेटा का सारा रिकॉर्ड चिकित्सा शिक्षा विभाग की ओर से मैनेज किया जाता है। विभाग के कर्मचारी जब कोरोना सैंपल के रिजल्ट का डेटा अपलोड करते हैं तो वे केवल पॉजिटिव केस का ही डेटा ज्यादा अपलोड कर रहे हैं, जबकि निगेटिव वालों का डेटा बहुत कम अपलोड कर रहे हैं। इसके कारण केन्द्र सरकार की एजेंसी को भी वही रिपोर्ट मिल रही है, जो यहां से भेजी जा रही है। पॉजिटिविटी रेट ज्यादा दिखने की यही वजह है।

डाटा अपलोड करने में हुई होगी गलती

चिकित्सा विभाग के सचिव सिद्धार्थ महाजन ने बताया कि राज्य में पिछले एक सप्ताह से पॉजिटिविटी रेट 0.30 फीसदी ही है। सभी जिलों में संक्रमण की दर 1 फीसदी से कम है। डेटा अपडेट करने में कोई गलती हाे रही होगी। वरना प्रदेश के किसी भी जिले में 10 फीसदी संक्रमण दर नहीं है।

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