बीकानेर का ये इलाके बने जुए के बड़े अड्डे, पुलिस की कोशिश नाकाम

बीकानेर का ये इलाके बने जुए के बड़े अड्डे, पुलिस की कोशिश नाकाम

बीकानेर का ये इलाके बने जुए के बड़े अड्डे, पुलिस की कोशिश नाकाम

बीकानेर(शिव भादाणी)। बीकानेर शहर में पिछले काफी लंबे समय से जुआ का कारोबार चरम पर है कई स्थान ऐसे है जहां पूरे साल जुए का खेल चलता है। कई ऐसे घर है जहां जुआरियों ने अपना अड्डा बना रखा है। पुलिस की बार बार रेड का इन पर कोई फर्क नहीं पड़ रहा है। इस जाल में युवा वर्ग जल्द ही लखपति बनने के कारण इस गंदे खेल में चल गये है। अगर देखा जाये तो 20 वर्ष के युवा इस धंधे में इस तरह से फंस गये है कि उनका निकलना मुश्किल है।
इन थाना इलाकों में बने जुए का अड्डा
नयाशहर, कोतवाली, गंगाशहर, व्यास कॉलोनी ऐसे थाने है जहां रोजाना सुबह से ही जुआरी अपने अपने ठिकानों पर पहुंच जाते हैजहां लाखों रुपये का जुआ खेला जाता है। जिसमें सबसे ज्यादा नयाशहर ऐसा इलाका बन गया है जहां पुलिस आये दिन छापा मारती है लेकिन इसका कोई फर्क नहीं पड़ रहा है। इतना होने के बाद भी जुआरी बिना पुलिस के डर से जुआ खेलते है। नयाशहरपुलिस के थानाधिकारी पिछले दिनों में अब तीन चार बड़ी कार्यवाही कर लाखों रुपये सहित दबोचने के बाद भी अब भी नयाशहर के कई ऐसे इलाके है जहां दिन भर जुए का खेल चल रहा है। जिसमें नत्थुसर गेट के बाहर हरलोई हनुमान मंदिर के पास, बेणीसर बारी के बाहर, झंवरों का चौक, भाटों का मौहल्ला, मुरलीधर व्यास कॉलोनी सहित कई ऐसे इलाके है जहां सुबह से ही जुए शुरु हो जाता है। इसी तरह कोतवाली में भी जुआरियों ने अपने अड्डे बना रखे है। पुलिस के बीट कांस्टेबल को सब पता है लेकिन छापे की कार्यवाही नहीं होती है। एक जुआरी ने तो अपना नाम नहीं छापने की शर्त पर बताया कि थाने में कुछ पुलिसकर्मियों से हमारी सीधी पकड़ है जिससे हमें थाने की गतिविधियों के बारे में जानकारी मिल जाती है जैसे ही पुलिस छापे मारने आती है हमारे पास तुरंत फोन आ जाता है जिससे हमें सर्तक हो जाते है इसी कारण पुलिस ने एक बार छापा मारा लेकिन कुछ हाथ नहीं लगा इसका मुख्य कारण यही था कि हमें पहले सूचना मिल गई थी। अगर ऊपर से ही कोई टीम छापा मारती है तो पकड़ में आ जाये ओर बात है लेकिन थाने की कार्यवाही में डर कम रहता है। हमारे कुछ जुआरी ऐसे है जो अगर मौके पर भी हो तो पुलिस के कर्मचारी उनको दूसरे रास्ते से निकाल देते है। ये सब खेल पैसे के दम पर होता है। इसलिए हमारा पुलिस काफी हद तक कुछ नहीं बिगडा सकती है।

होनी चाहिए जेल
कानूनी में ऐसा प्रावधान होना चाहिए कि जुआ एक सामाजिक बुराई तो सामाजिक बुराई करने वालों में समाज व प्रशासन का कड़ा नियम होना चाहिए । अगर पुलिस जुआरियों व स्टोरियों को पकड़ती है तो इनको जेल होनी चाहिए जिससे की ये बुराई समाज के अच्छे युवाओं को खराब कर दिया है।

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