आईपीएल को लेकर सटोरियों ने बिछाई बिसात, कोड से होगा पूरा सट्टे का खेल

आईपीएल को लेकर सटोरियों ने बिछाई बिसात, कोड से होगा पूरा सट्टे का खेल

शिव भादाणी
खुलासा न्यूज बीकानेर। आईपीएल के शुरु होने में चंद दिन ही बाकी रहे है इसको लेकर शहर के नामी सटोरियों ने श्रंखला शुरु होने से पहले ही अपने अपने ठिकानों को सुरक्षित कर लिये है। क्योंकि कोरोना के कारण कोई भी सीरिज नहीं होने से सटोरियों के लंबा नुकसान हो गया है। अब सटोरियां किसी तरह से इस आईपीएल सीजन में अपने नुकसान की भरपाई के लिए पहले से ही तैयारी पूरी कर ली है। अगर बीकानेर जिले के सट्टे की बात की जाये तो बीकानेर के सट्टेबाजों के तार विदेशों से जुडे हुए जहां से इनको आसानी से सट्टे के भाव मिलते रहते है। इस बार तो आईपीएल भी विदेशों में हो रहा है तो सट्टेबाजों की बल्ले- बल्ले हो गई है। शहर के गंगाशहर, बड़ा बाजार, जस्सूसर गेट, सुनारों की बड़ी गुवाड़, जयनारायण व्यास कॉलोनी, मोहता चौक, रांगड़ी चौक, गोपेश्वर बस्ती आदि इलाकों में नामी सट्टेबाज रहते है जिनके तार देश व देश के बाहर बैठे सट्टेबाजों से जुड़े है। गंगाशहर के सट्टेबाजों ने तो अपने ठिकाने जिले के आस पास खेतों व ढाणियों में आलीशान तरीके बनाये है जहां पुलिस की पहुंच नहंी होगी उन्होंने अपना पूरा इंतजाम वहीं कर रखा है। नागौर, नापासर, श्रीडूंगरगढ़, नोखा आदि क्षेत्रों में भी नामी सट्टेबाज है जहां से विदेशों व स्थानीय सौदेबाजी होती है। जानकारी ऐसी मिली है कुछ नामी सट्टेबाजों की आपसी में एक ऑनलाइन मीटिग आयोजित कर किस तरह से सट्टा करना है और पुलिस से किस तरह से बचना है इस पर चर्चा हुई है और पुलिस को भनक तक नहीं लगी है। सट्टे बाजार की अगर माने तो आईपीएल में 56 मैचों में करीब 12 हजार करोड़ रुपये का सौदेबाजी होगी। गंगाशहर के सट्ेबाजों ने तो अपने गुप्त ठिकाने बनाकर उन जगहों पर सभी वीआईपी व्यवस्था कर रखी है। इस बार बार लेन-देन सारा ऑनलाइन होगा जिसके लिए एक एप्प भी जारी होगा जिसमें सट्टेबाज अपने पंटरों को एक गुप्त कोड देंगे जो उस एप्प में उस कोड में उस व्यक्ति की लेन-देन उतर जायेगा लेकिन एप्प उस पंटर के मोबाइल में होगा जिस पर उसको ऑनलाइन चलते मैच का भाव में सामने आते रहेगें। सट्टेबाज को सिर्फ सटोरियों को एप्प के द्वारा ही कॉल करनी होगी जिससे उसकी एंटरी भी ऑनलाइन ही होगी। इस एप्प से फायदा है कि अगर कभी किसी समय कोई पंटर यहां सट्टेबाज पकड़ा जाता है तो पुलिस को यह जानकारी नहीं मिलेगी कि एप्प के द्वारा कौन- कौन लोग इस सट्टे के कारोबार से जुडा है।
पंटरों ने पहले से ही अपने बुकिंग करवाई
शहर के सट्टेबाजों के पास छोटे- मोटे पंटरों ने आईपीएल शुरु होने से पहले ही सट्टेबाजों के पास अपनी बुकिंग व कोड प्राप्त कर लिये है जिससे वह अपनी सौदेबाजी कर सके।
पहले भी पकड़े बड़े सट्टेबाज
पूर्व पुलिस अधीक्षक अमन दीप सिंह ने एक बड़ी कार्यवाही करते नोखा व बीकानेर के नामी सट्टेबाजों को अपने गिरफ्त में लिया था जिन पर आरोप लगाया था कि इनके तार विदेशों से जुडे है। उस समय एक बारंगी पूरे प्रदेश में सट्टेबाजों की नींद उड़ गई थी उस समय एक बार शहर के बाकी नामी सट्टेबाजों ने बीकानेर छोड़ प्रदेश के अलग अलग जिलों में छिप गये थे।
युवाओं में क्रिकेट का चाव ज्यादा
युवाओं में क्रिकेट सबसे लोकप्रिय खेल है। अंतर्राष्ट्रीय मैचों के दौरान लोग कामकाज छोड़कर टीवी स्क्रीन से चिपक जाते हैं। इस खेल को लेकर दीवानगी सभी के अंदर देखी जा सकती है। कभी यह केवल शौक हुआ करता था लेकिन अब लोगों ने इसे पैसा कमाने का जरिया बना लिया है। मैच पर लोग जमकर पैसा लगाते हैं। टास से लेकर हर गेंद, हर विकेट, हर शाट पर लोग पैसा कमाते और गंवाते हैं। यहां तक कि टीम से लेकर बल्लेबाज और गेंदबाज तक की बोली लगती है। टीम और उसके खिलाडिय़ों की फार्म के हिसाब से सटोरिए उनका भाव भी तय कर देते हैं। बीते 5 सालों से बड़े शहरों की तरह सटोरियों ने यहां भी इस अवैध कारोबार को शुरू कर दिया है।  मोहल्ले में डब्बे के कारोबार को अंजाम दिया जाता है। आईपीएल को लेकर शहर के सटोरियों नेें तैयारियां शुरू कर दी हैं। किसी ने सिक्योरिटी राशि जमा करके फर्रुखाबाद तो किसी ने दिल्ली या फिर आगरा के बुकियों से संपर्क बनाए हैं। कुछ मैच के जानकार युवक मोबाइल पर खाईबाड़ी का काम करते हैं, जो पुलिस से बचने के लिए प्रति दिन मोबाइल की सिमें बदलते हैं। अभी तक पुलिस ने एक पर भी कार्रवाई नहीं की है।

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