अंबेडकर की मूर्ति तोडऩे के मामले में सरपंच पुत्र व भांजा गिरफ्तार

अंबेडकर की मूर्ति तोडऩे के मामले में सरपंच पुत्र व भांजा गिरफ्तार

खुलासा न्यूज, बीकानेर। श्रीडूंगरगढ़ पुलिस थाना क्षेत्र के ठुकरियासर गांव के ग्राम पंचायत भवन में लगी अंबेडकर मूर्ति तोडऩे के मामले तत्परता से कार्रवाई करते हुए 12 घंटों के अंदर-अंदर खुलासा करते हुए दो जनों को गिरफ्तार किया है। जानकारी के अनुसार ठुकरीयासर गांव के पंचायत भवन में लगी अंबेडकर की मूर्ति को सरपंच के पुत्र व भांजे ने ही तोड़कर पुलिस का ध्यान भटकने का प्रयास किया था। दरअसल शुक्रवार को सरपंच अमरा राम गांधी व उसके पुत्र बुधराम द्वारा बिजली विभाग के कनिष्ठ अभियंता के साथ सड़क मारपीट की गई थी। बताया जा रहा है कि सरपंच के पुत्र नरसी राम व भांजे हनुमान द्वारा पंचायत समिति व बिजली विभाग के अधिकारियों पर दवाब डालने और पुलिस का ध्यान भटकाने के उद्देश्य से ग्राम पंचायत भवन में लगी अंबेडकर की मूर्ति को खुद तोड़कर कागजात को फाड़कर अधिकारियों को फसाने की कोशिश की थी, लेकिन यह कोशिश उल्टा उन्हीं पर भारी पड़ गई।

 

पुलिस ने गहन अनुसंधान के बाद पूरी तरह से विफल कर दिया और पुलिस टीम द्वारा पूरे मामले का खुलासा कर दिया गया है। पुलिस टीम ने गहन अनुसंधान के बाद 12 घंटे में ही इसका खुलासा कर दिया गया है। सीओ निकेत पारीक के सुपरविजन में थाना अधिकारी इंद्र कुमार के नेतृत्व में बनाई गई विशेष टीम में सब इंस्पेक्टर धर्मपाल वर्मा, हेड कॉन्स्टेबल हरिराम मीणा, कांस्टेब्ल महिपाल, पुनीत, अनिल कुमार, मोहन लाल की टीम द्वारा इस मामले का पूरी तरह से खुलासा कर दिया गया। अंबेडकर मूर्ति तोडऩे अराजकता फैलाने माहौल खराब करने के आरोप में नरसीराम पुत्र अमराराम व हनुमान राम पुत्र मोहन राम मेघवाल को गिरफ्तार किया है।

बता दें कि गांव में बनने वाले बिजली विभाग के जीएसएस के निर्माण को लेकर बिजली विभाग के कनिष्ठ अभियंता श्री नारायण शुक्ला पंचायत समिति के पीओ गिरधारी दास ठुकरियासर ग्राम विकास अधिकारी मधु ओझा सरकारी वाहन से जीएसएस का टेक्निकल सर्वे व रिपोर्ट बनाने गए थे और वापसी में तोलियासर गांव के पास उनकी सरकारी गाड़ी को रोककर कनिष्ठ अभियंता को गाड़ी से उतार कर मारपीट की गई थी। घटना की जानकारी मिलने पर मौके पर पहुंचे हेड कांस्टेबल हरीराम मीणा द्वारा सरपंच अमराराम गांधी व सरपंच पुत्र बुधराम को शांतिभंग में गिरफ्तार किया था और इसी बात को लेकर पुलिस पर दबाव बनाने के लिए पूरी साजिश रची गई थी। पुलिस के अधिकारियों की तत्परता से माहौल बिगाडऩे की कोशिश को पुरी तरह से नाकाम कर दिया गया।

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