अब राजस्थान में सस्ती होगी बजरी, सरकार ने जारी किये 16 पट्टे - Khulasa Online अब राजस्थान में सस्ती होगी बजरी, सरकार ने जारी किये 16 पट्टे - Khulasa Online

अब राजस्थान में सस्ती होगी बजरी, सरकार ने जारी किये 16 पट्टे

जयपुर। सुप्रीम कोर्ट की ओर से बजरी मामले में राहत मिलने के बाद अब राजस्थान सरकार ने इसके 16 नए खनन पट्टे जारी कर दिए हैं. इससे अब राजस्थान में बजरी संकट का समाधान होने की उम्मीद जगी है. बजरी आपूर्ति के अभाव में राजस्थान में लंबे अरसे से विकास के पहिये जाम से हो गए थे. निर्माण कार्य ठप हो गए थे. इससे दिहाड़ी मजदूरों के सामने रोजगार का संकट पैदा हो गया था. हालांकि इस बीच एम सेंड और बजरी के दूसरे विकल्पों से प्रदेश में विकास को थोड़ी गति देने कोशिश की गई लेकिन बात नहीं बन पाई.
अब दावा किया जा रहा है कि बजरी खनन के नए पट्टे जारी होने से राजस्थान में इसकी 90 फीसदी मांग पूरी हो जाएगी. नए खनन पट्टे होने जारी से अब प्रदेश में पहले के मुकाबले दोगुनी बजरी की आपूर्ति हो सकेगी. जानकारी के अनुसार राजस्थान में बजरी की कुल मांग देखी जाए वो प्रतिदिन 70 मिलियन टन मानी जाती है. प्रदेश प्रतिदिन बजरी के 10 हजार ट्रकों की मांग रहती है. हर ट्रक में करीब 40 टन बजरी भरी जाती है. राजधानी जयपुर की मांग को देखी जाए तो यहां रोजाना बजरी के करीब दो हजार ट्रकों की मांग रहती है.
बजरी के एक ट्रक के भाव 60 हजार रुपये तक पहुंच गए थे
पहले बजरी की इस मांग को महज 12 खनन पट‌्टों से पूरी करने की कोशिश की जा रही थी. लेकिन उससे केवल 30 मिलियन टन बजरी की ही आपूर्ति हो पा रही थी. यानी कुल मांग के मुकाबले महज 42 फीसदी बजरी की ही आपूर्ति हो पा रही थी. अब वन विभाग की ओर से 16 नये खनन पट‌्टे जारी करने से 30 मिलियन बजरी की और आपूर्ति हो सकेगी. पहले 40 टन के बजरी के एक ट्रक का भाव 60 हजार रुपये तक पहुंच गए थे. जबकि बजरी संकट के पहले इसकी कीमत 30 हजार रुपए हुआ करती थी. अब नई लीज पट्टे जारी होने से बजरी के दामों में कमी या फिर पुराने भाव के आसपास आने के पूरे आसार हैं.
अब 70 मिलियन टन के मुकाबले 60 मिलियन टन मिलेगी बजरी
खान एवं गोपालन मंत्री प्रमोद जैन भाया ने बताया कि आम लोगों को आसानी से और वैध तरीके से बजरी प्राप्त हो सके इसके लिए विभाग की ओर से हरसंभव प्रयास किए जा रहे हैं. बजरी के नए लीज पट्टे जारी करने से कुल मांग 70 मिलियन टन के मुकाबले 60 मिलियन टन यानी 88 से 90 फीसदी के करीब मांग डिमांड पूरी हो सकेगी. इससे बाजार में बजरी के भाव भी काबू में आ सकेंगे. रोजगार और निर्माण में भी तेजी आएगी. अवैध खनन को भी रोका जा सकेगा.
बजरी की समस्या लगभग पूरी तरह से समाप्त होने का दावा
एसीएस खान सुबोध अग्रवाल के मुताबिक राज्य सरकार ने आम नागरिकों को बड़ी राहत देते हुए दो दिन पहले ही बजरी खनन के 16 नये खनन पट्टे ओर जारी किए हैं. इससे पहले राज्य सरकार द्वारा 12 बजरी खनन पट्टे जारी किए जा चुके थे. अब प्रदेश के अधिकांश हिस्सों में बजरी की समस्या लगभग पूरी तरह से समाप्त हो जाएगी.

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