
जेईएन पर गलत फीडबैक देने का आरोप, अतिक्रमण तोडऩे के मामला







जेईएन पर गलत फीडबैक देने का आरोप, अतिक्रमण तोडऩे के मामला
बीकानेर। मुरलीधर व्यास कॉलोनी के एक पार्क में निर्माण चल रहा था। बीडीए की जेईएन ने उच्च अधिकारियों को इसे अवैध कब्जा बताया जबकि मोहल्ले वाले इसे भैरों जी का मंदिर बता रहे थे। जेईएन के फीडबैक के आधार पर बीडीए ने निर्माण तोड़ दिया।इसके बाद मोहल्लेवाले वहां एकत्र हो गए। विधायक ने भी इसे तोडऩे से रोका मगर जेईएन की जिद से माहौल बिगड़ गया। दरअसल मुरलीधर व्यास कॉलोनी में एक पार्क है। वहां पक्षियों के लिए मोहल्ले वाले ही पानी और अन्य चीजों का निर्माण करा रहे थे। मोहल्ले वालों का कहना है कि वहां एक भैरूं जी की कुटिया थी। बीडीए की जेईएन अलका ने उच्चाधिकारियों को गलत फीडबैक दे दिया कि कब्जा हो रहा है जबकि निर्माण पूरा मोहल्ला मिलकर करा रहा था। बीडीए की टीम जब अतिक्रमण तोडऩे पहुंची तोमोहल्लेवासियों ने उसका विरोध किया फिर भी जेईएन ने तोडफ़ोड़ से पहले और माहौल गरमाने की सूचना उच्चाधिकारियों को नहींदी। लोगों ने क्षेत्रीय विधायक को भी सूचना दी।हिंदू जागरण मंच के शैलेष गुप्ता का आरोप है कि जेईएन ने विधायक के बारे में भी एक गलत टिप्पणी की। गुप्ता ने कहा कि मैंमानता हूं कि कमिश्नर और सचिव को पता नहीं था मगर जेईएन की डयूटी बनती थी कि तोडऩे से पहले के विरोध को अधिकारियोंको बताएं। गुप्ता बोले, प्रशासन समय पर एक्शन ले वरना स्थिति संभालना मुश्किल हो जाएगा। उधर कमिश्नर अर्पणा गुप्ता ने भी कहा कि उन्हें जेईएन से ही फीडबैक मिला कि अवैध निर्माण हो रहा था। विरोध के बाद और भी कुछ बातें सामने आई हैं। हम पूरी हकीकत पता लगा रहे हैं।


