बीकानेर जिले में आम लोग सबसे ज्यादा ठगी के शिकार हो रहे है, युवाओं का औसत ज्यादा,अगर आपके साथ होगी है ठगी तो इन नंबरों पर करें फोन

बीकानेर जिले में आम लोग सबसे ज्यादा ठगी के शिकार हो रहे है, युवाओं का औसत ज्यादा,अगर आपके साथ होगी है ठगी तो इन नंबरों पर करें फोन

बीकानेर। सीमावर्ती बीकानेर जिले में हर महीने औसतन 78 लोग साइबर ठगी का शिकार हो रहे हैं। इनमें सबसे ज्यादा युवा हैं। जिला साइबर सेल के अनुसार, पीडि़तों में 60 प्रतिशत 20 से 45 आयु वर्ग के हैं। यह तो वेमामले हैं जो पुलिस के पास पहुंचे हैं। इसके अलावा कई मामलों में साइबर फ्रॉड का शिकार होने वाले लोग पुलिस तक भी नहीं पहुंचते। ऐसे में वास्तविक आंकड़ा इससे भी ज्यादा होगा। साइबर ठगों नेपिछले 17 महीनों में 1328 लोगों की गाढ़ी कमाई के चार करोड़ 92 लाख 87 हजार 689 रुपए ठग लिए। जिला साइबर सेल ने एक करोड़ 15 लाख 57 हजार 664 रुपए वापस दिलवाए। जबकि एक करोड़20 लाख 92 हजार 79 रुपए बैंकों में होल्ड करवा दिए। इस लिहाज से ठगों के चंगुल से रुपए वापस निकालने का प्रतिशत 48.58 रहा है। हैरान करने वाली बात है कि साइबर ठग झारखंड, यूपी, दिल्ली व नोएडा सहित अन्य जगहों से यह काम बेधडक़-बेझिझक कर रहे हैं। अंतरराज्जीय गैंग भी ठगी करने में पीछे नहीं हैं। साइबर ठग अब इतने शातिर हो गए हैं कि वे बिना ओटीपी, फोन कॉल, मैसेज व लिंक केआमजन के खातों में सेंध लगा रहे हैं।
हर साल बढ़ रही ठगीवर्ष 2022 में एक जनवरी से 31 दिसंबर तक 780 लोगों को साइबर ठगों ने शिकार बनाया। दो करोड़ 63 हजार 67 हजार 67 रुपए उड़ाए। पुलिस 56 लाख 38 हजार 870 रुपए ही वापस दिलवा सकी।- वर्ष

2023 में अब तक 548 लोग ठगी का शिकार। दो करोड़ 29 लाख 20 हजार 622 रुपए पर मारा हाथ। पुलिस ने 45 लाख 18 हजार 794 रुपए वापस दिलवाए।कौन हो रहे शिकार, समझें आंकड़ों में- 10 प्रतिशत महिलाएं-युवतियां
60 प्रतिशत 20 से 45 आयुवर्ग के लोग
15 प्रतिशत बुजुर्ग
15 प्रतिशत पढ़े-लिखे नौकरीपेशा लोग
थोड़ी-सी सावधानी से साइबर ठगी से बचा जा सकता है। सोशल मीडिया पर निजी और ऑफिशियल जानकारी किसी से साझा नहीं करें। साइबर ठग किसी को भी मैसेज, लिंक, क्यूआर कोड भेजकर शिकार बनाते हैं। ध्यान रखें अनजान व्यक्ति की ओर से भेजे गए किसी भी ईमेल, मैसेज, लिंक व क्यूआर कोड को स्केन नहीं करें और ना कोई ओटीपी बताएं। यदि मोबाइल पर बैंकिंग या फाइनेंस से जुड़ा कोई

मैसेज आता है तो उसे ध्यान से पढ़ें। फिर आगे सोच-समझकर प्रोसेस करें। साइबर हैकिंग से बचना है तो पासवर्ड बदलते रहे। एप को अपडेट करते रहे। सबसे जरूरी बात अपने फोन की फोटो गैलरी मेंजरूरी कागजों की फोटों न रखें। साइबर ठगी से आमजन को बचाने के लिए गृह मंत्रालय की ओर से फेसबुक, इंस्टाग्राम, ट्विटर, यूट्यूब और टेलीग्राम जैसे सोशल मीडिया प्लैटफार्म पर साइबर दोस्त नाम

से एक चैनल चलाया जा रहा है। जो आप अपने मोबाइल में डाउनलोड करें। यह आपको समय-समय पर साइबर ठगी से बचने के लिए सचेत करेगा।देवेन्द्र सोनी, उपनिरीक्षक, प्रभारी जिला साइबर सेल
ठगी हो तो यहां करें शिकायतनेशनल साइबर हेल्पलाइन : 1930
बीकानेर जिला साइबर सेल : 7877045498
यह सावधानी बरतें…
अनजान वीडियो कॉल को उठाने से पहले कैमरे पर अपना अंगूठा रख कैमरे को ढक लें। सामने वाले का चेहरा देखने के बाद अपना चेहरा दिखाएं।मोबाइल में कोई भी एप प्ले स्टोर या एप स्टोर से ही डाउनलोड करें।
जरूरी कागजातों को डिजी लॉकर में नहीं रखें।एपीके फाइलों को कभी डाउनलोड नहीं करें। इससे डाटा हैक हो सकता है।

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