
दहेज के लिए विवाहिता के साथ मारपीट करने के मामले में पति, सास व ससुर को तीन- तीन साल की सजा






दहेज के लिए विवाहिता के साथ मारपीट करने के मामले में पति, सास व ससुर को तीन- तीन साल की सजा
बीकानेर । अतिरिक्त सिविल न्यायाधीश एवं न्यायिक मजिस्ट्रेट संया एक के न्यायाधीश ने दहेज के लिए विवाहिता से मारपीट करने, स्त्रीधन हड़पने व घर से निकालने के दस साल पुराने मामले में पति, सास, ससुर, देवर व जेठ को दोषी करार देते हुए तीन-तीन साल की सजा से दंडित किया है। अभियुक्त को 11-11 हजार रुपए के अर्थदंड से भी दंडित किया है। अर्थदंड जमा नहीं कराने पर दो माह का अतिरिक्त कारावास भुगतना होगा। न्यायाधीश पल्लवी ने विवाहिता के पति अताउर्रहमान, ससुर नूर समद चौहान, सास शमीम बानो उर्फ कनीज, जेठ जिया उर्रहमान, देवर हबीबुर्रहमान को दोषी करार देते हुए भादंसं की धारा 498 ए में तीन-तीन साल का कारावास व पांच-पांच हजार रुपए का अर्थदंड लगाया। वहीं धारा 406 में दो-दो वर्ष का साधारण कारावास व पांच-पांच हजार रुपए के अर्थदंड से दंडित किया। भादंसं की धारा 323 में प्रत्येक अभियुक्त को एक-एक वर्ष का कारावास व एक-एक हजार रुपए का अर्थदंड लगाया। अभियुक्तों की सभी सजाएं साथ-साथ चलेंगी।
यह है मामला
शमीम का विवाह 19 नवंबर, 2004 को रामपुरा बस्ती निवासी अताउर्रहमान पुत्र नूर समद चौहान के साथ हुआ था। शादी के कुछ समय बाद ही पति, ससुर, सास, जेठ, देवर दहेज के लिए तंग-परेशान करते। आरोपी आए दिन उसके साथ मारपीट करते। बाद में वह बाड़मेर में पति के साथ रहने लगी। चार मई, 2010 को बाड़मेर में उसके पति ने शराब पीकर मारपीट की व घर से निकाल दिया। तब वह बीकानेर ससुराल आई। दिसंबर, 2010 तक वहां रही। एक दिन आरोपियों ने मारपीट कर घर से निकाल दिया। इसके बाद वह पीहर आ गई।

