
मगरे के शेर देवीसिंह भाटी की बीजेपी में घर वापसी अब मुश्किल, घोर विरोधी अर्जुनराम मेघवाल को जॉइनिंग कमेटी का हेड बनाया, सियासत गरमाई






खुलासा न्यूज़ , बीकानेर । राजस्थान BJP में नेताओं की जॉइनिंग और घर वापसी को लेकर पनपे विवाद के बीच पूर्व मंत्री देवी सिंह भाटी के घोर विरोधी केंद्रीय मंत्री और बीकानेर से लोकसभा सांसद अर्जुनराम मेघवाल को ही पार्टी ने जॉइनिंग कमेटी का हेड बना दिया है। भाटी ने मेघवाल को लोकसभा का टिकट दिए जाने के बीजेपी हाईकमान के फैसले के खिलाफ ही पार्टी छोड़ी थी। अब 2023 विधानसभा चुनाव से पहले वसुंधरा राजे के सहारे भाटी बीजेपी में वापसी की तैयारियों में जुटे हैं। 9-10 अक्टूबर को बीकानेर में वसुंधरा राजे के दौरे और सभा से पहले 8 अक्टूबर को भाटी ने बीजेपी जॉइन करने का ऐलान भी खुद ही करवा दिया था। लेकिन पार्टी में उनकी जॉइनिंग नहीं हो सकी। साथ ही दूसरे नेताओं की बीजेपी में घर वापसी की फाइल भी अटक गई।
बीजेपी जॉइनिंग कमेटी में अर्जुनराम मेघवाल के अलावा विधायक वासुदेव देवनानी सहित 4 से 5 नेता शामिल होंगे। यह कमेटी तय करेगी कोई नेता बीजेपी में शामिल होगा या नहीं। ऐसे में देवी सिंह भाटी को बीजेपी में जॉइनिंग के चांस अब बहुत कम हो गए हैं। क्योंकि अर्जुनराम मेघवाल के बेटे रवि शेखर मेघवाल खुद उसी कोलायत विधानसभा क्षेत्र से विधानसभा चुनाव की तैयारियों में जुटे हैं, जहां से देवी सिंह भाटी पूर्व में बीजेपी से चुनाव लड़ते रहे हैं। 20-21 अक्टूबर को बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा कोटा में बूथ सम्मेलन को संबोधित करने राजस्थान आ रहे हैं। इस दौरान जॉइनिंग की उम्मीद लगाए बैठे नेताओं के नामों की लिस्ट पर जॉइनिंग कमेटी और पार्टी प्रदेश संगठन नड्डा से भी फाइनल मार्गदर्शन (गाइडेंस) लेंगे।
माना जा रहा है पूर्व मंत्री और वसुंधरा राजे के करीबी देवी सिंह भाटी की घर वापसी का रास्ता बहुत मुश्किल है। क्योंकि भाटी ने अर्जुनराम मेघवाल को दोनों बार बीकानेर से लोकसभा सांसद का टिकट मिलने पर पुरजोर विरोध किया था। पिछले लोकसभा चुनाव में अर्जुनराम मेघवाल को दोबारा टिकट मिलने पर देवी सिंह भाटी ने पार्टी छोड़ने का फैसला खुद लिया था। देवी सिंह भाटी बीकानेर में दिग्गज बीजेपी नेता रहे हैं। वह 1980 से लगातार 7 बार विधायक रहे। वसुंधरा राजे के विश्वास पात्र और करीबी होने के बावजूद केंद्रीय बीजेपी के फैसले पर सवाल उठाने के कारण आज हाशिये पर चल रहे हैं।
बीजेपी की राष्ट्रीय उपाध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने 9 और 10 अक्टूबर को बीकानेर दौरा कर सभाएं भी की थीं। बीकानेर के कोलायत से पूर्व मंत्री और विधायक देवी सिंह भाटी ने व्यवस्थाओं को सम्भाला और एक्टिव रहे। राजे न सिर्फ पूर्व मंत्री देवीसिंह भाटी के जस्सूसर गेट स्थित निवास पर गई और उनसे काफी देर बातचीत की, बल्कि भाटी के आग्रह उनके साथ गोचर भूमि देखने के लिए सरेह नथानिया भी पहुंची। राजे ने बीकानेर शहर में जूनागढ़ क़िले के अंदर गढ़ गणेश मंदिर में दर्शन करने के बाद किले के बाहर एक विशाल जनसभा को सम्बोधित किया। कार्यक्रम में पूर्व मंत्री देवी सिंह भाटी के अलावा श्रीगंगानगर सांसद निहालचंद मेघवाल, चूरु सांसद राहुल कस्वा, बीकानेर ईस्ट से बीजेपी विधायक सिद्धि कुमारी, विधायक कालीचरण सर्राफ, पूर्व विधायक विश्वनाथ मेघवाल, अशोक परनामी, राजपाल सिंह शेखावत, यूनुस खान और महावीर रांका समेत कई स्थानीय नेता मौजूद रहे। नोखा विधायक बिहारीलाल विश्नोई भी वहां वसुंधरा के कार्यक्रम में पहुंचे।
लेकिन केंद्रीय मंत्री अर्जुनराम मेघवाल के समर्थक लूणकरणसर बीजेपी विधायक सुमित गोदारा, बीकानेर की महापौर सुशीला कंवर राजपुरोहित, जिलाध्यक्ष अखिलेश प्रताप सिंह, शहर और देहात बीजेपी पदाधिकारियों ने राजे के कार्यक्रम से दूरी बनाए रखी। ये सभी बीजेपी संगठन और अर्जुनराम मेघवाल के करीबी माने जाते हैं।
रवि शेखर ने तो बकायदा सोशल मीडिया (फेसबुक) पर पूर्व सीएम के दौरे को निजी दौरा करार देते हुए ट्वीट भी किया था जिसे बाद में डिलीट कर दिया। रवि शेखर ने लिखा था- ”मित्रों नमस्कार, 9 अक्टूबर को बीकानेर जिले में पूर्व मुख्यमंत्री जी दो दिवसीय दौरे पर आ रही हैं। यह दौरा उनका निजी है। अभी संगठन की तरफ से कोई प्रोग्राम नहीं आया है। धन्यवाद।”


