
बीकानेर जेल ने समय से पहले रिहा कर दिया बंदी






खुलासा न्यूज बीकानेर। जेल में काम करने वाले बंदी को वहां किए गए काम और व्यवहार के रूप में अंक दिए जाते हैं और इन अंकों के आधार पर उसकी रिहाई समय से पहले भी होती है। बीकानेर से दो साल पहले रिहा हुए बंदी के अंकों को लेकर अब तक सेंट्रल जेल प्रशासन परेशान हो रहा है। विधानसभा में उठे इस मामले के बाद एक बार फिर जेल प्रबंधन इसका जवाब देने में जुटा है।
मामला यह है कि उर्फ भल्लो को कुछ साल पहले अपराध में संलिप्त पाये जाने पर जेल हुई थी। दो साल पहले उसे रिहा कर दिया गया। आरोप है कि उसकी रिहाई समय से पहले हो गई थी, क्योंकि काम करने के बदले उसे जो अंक दिए गए, उनकी गणना गलत की गई। अब जेल प्रशासन का कहना है कि ऐसा कुछ नहीं है। गणना सही की गई थी। यह गणना बहुत ही तकनीकी आधार पर होती है, जिसका आम आदमी को पता नहीं होता। शिकायतकर्ता ने गलत तथ्यों के आधार पर गणना की है। इस मामले में जेल प्रबंधन अपने मुख्यालय को कई बार स्पष्टीकरण दे चुका है और मुख्यालय भी मान चुका है कि कुछ भी गलत नहीं हुआ।
अब मामला क्यों उठा
दरअसल, विधानसभा में विधायक गोपीचंद मीणा ने यह ध्यानाकर्षण प्रस्ताव लाते हुए यह मुद्दा उठाया है कि बीकानेर जेल से बंदी को समय से पहले रिहाई दी गई। इतना ही नहीं मीणा ने आरोप लगाया है कि बंदी ने जेल में काम ही नहीं किया था, फिर भी उसे अतिरिक्त लाभ दिया गया।


