गलत जानकारी देने के आरोप में 2290 पॉटिजिव मरीजों पर की जाएगी कार्रवाई
बीकानेर। लखनऊ में गली-गली और मोहल्लों में कोरोना मरीज घूम रहे हैं। कब-कौन, कैसे और कहां संक्रमित कर जाये आपको पता भी नहीं चलेगा। दरअसल, राजधानी से बीते 10 दिनों में 2290 कोरोना पॉटिजिव मरीज गायब हैं जिनकी कोई जानकारी नहीं है। इन्हें ढूंढने में पुलिस-प्रशासन के पसीने छूट रहे हैं। 23 से 31 जुलाई के बीच इन मरीजों की जांच हुई थी। रिपोर्ट पॉजिटिव आने के बाद से सभी का कोई अता-पता नहीं है।
प्रशासन ने जब इनके द्वारा दिये गये नाम और पते खंगाले तो वे फर्जी निकले। पुलिस की सर्विलांस टीम को इनकी तलाश में लगाया गया है जिसने अब 1171 कोरोना पॉजिटिव मरीजों को तलाश लिया है, जबकि 1119 मरीज अभी भी गायब हैं। पकड़े गये सभी मरीजों को हॉस्पिटल में एडमिट कराया गया है। अब गलत जानकारी देने के आरोप में इन कार्रवाई की जाएगी।
पुलिस कमिश्नर सुजीत पांडे के मुताबिक कोरोना संक्रमण की चेन तोडऩे के लिए हजारों की संख्या में जांच की गई थी। कई जगह कैंप लगाकर सैम्पल लिए गये इस दौरान लोगों ने फॉर्म पर गलत, नाम, पता और मोबाइल नंबर भरा, जिससे उन्हें ट्रेस करना मुश्किल हो रहा था।