
प्रोफेसरों में पढ़ाई पर लड़ाई: कुलसचिव के सामने भिड़े दो प्रोफेसर; जमकर चले लात-घूंसे, कपड़े भी फाड़े






मध्यप्रदेश में उज्जैन की विक्रम यूनिवर्सिटी में शुक्रवार की शाम बेहद शर्मनाक वाकया सामने आया। यहां MBA के HOD और पूर्व HOD के बीच जमकर मारपीट हुई। एक दूसरे को इतने लात-घूंसे लगे कि दोनों ही लहूलुहान हो गए। दोनों के बीच कुलसचिव के सामने उनके कमरे में ही बहस शुरू हुई थी, जो बाहर आते ही मारपीट में बदल गई।
बाद में कुलपति के सामने भी दोनों जमकर बहस करने लगे, तो कुलपति ने उन्हें कड़ी फटकार लगाई। स्थानीय विधायक और उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि मामले में जांच के बाद कार्रवाई की जाएगी।
एडमिशन को लेकर भिड़े थे प्रोफेसर
यूनिवर्सिटी के MBA विभाग के पूर्व प्रमुख कामरान सुल्तान यूनिवर्सिटी से ही LLM की पढ़ाई करना चाहते हैं, लेकिन मौजूदा HOD डॉ. डीडी बेदिया नहीं चाहते कि प्रो. कामरान को इसमें एडमिशन मिले। इस बात पर दोनों के बीच अक्सर कहासुनी होती रहती है। शुक्रवार शाम को 6 बजे इसी विवाद में दोनों कुलसचिव के कमरे में भिड़े। हाथापाई में बेदिया के कपड़े फट गए, जबकि कामरान का चेहरा लहूलुहान हो गया।
LLM की पढ़ाई सिर्फ बहाना, असली लड़ाई HOD की
प्रो. बेदिया और प्रो. कामरान के बीच लड़ाई नई नहीं है। इनके बीच पूर्व कुलपति बालकृष्ण शर्मा के समय से यही स्थिति है। प्रो. कामरान का LLM में एडमिशन लेना प्रो. बेदिया को उतना नहीं अखर रहा है जितना HOD का पद फिर से पाने के लिए प्रो. कामरान का लगातार कोशिश करना। दरअसल, प्रो. कामरान पूर्व कुलपति शर्मा के कार्यकाल में MBA डिपार्टमेंट के HOD थे। उन्होंने प्रो. कामरान को हटाकर प्रो. बेदिया को HOD बना दिया। नए कुलपति डॉ. अखिलेश पांडेय ने बेदिया को इंजीनियरिंग डिपार्टमेंट का भी HOD और हॉस्टल इंचार्ज बना दिया। इसी बात को लेकर दोनों प्रोफसरों में आपसी विवाद जारी है। मौजूदा HOD प्रो. बेदिया के क्लास में नहीं आने पर उन्हें टोकना भी दोनों के बीच विवाद की वजह बना।
प्रो. कामरान ने राष्ट्रपति से मांगी इच्छामृत्यु
शुक्रवार की घटना से आहत प्रो. कामरान ने इच्छामृत्यु की मांग की है। राष्ट्रपति को लिखे पत्र में उन्होंने कहा है कि एचओडी डॉ बेदिया मुझे पूरे विश्वविद्यालय के सामने लंगड़ा आदि अपशब्द बोलकर अपमानित करते हैं। शुक्रवार को जब वह मुझे लात-घूसों से मार रहे थे तो कर्मचारी और अधिकारियों ने डॉ बेदिया से कई बार मिन्नतें की कि एक अपाहिज प्रोफेसर को आप इतनी बेरहमी से मत मारो। दिव्यांग होने में मेरा कोई दोष नहीं है। घटना के बाद से मैं और मेरा परिवार रात भर सो नहीं पाया। अन्तर्रात्मा से अपने आपको बहुत दुखी महसूस कर रहा हूं। जिससे मेरे आत्म सम्मान को बहुत ठेस पहुंची है। बचपन से आज तक मुझे मेरे अपाहिज होने का कभी इतना दुख नहीं हुआ जितना कि कल की घटना से हुआ है। अत: माननीय, मैं ऐसी निर्लज्जता एवं प्रताड़ना की जीवन नहीं जीना चाहता हूं। आपसे निवेदन है कि मुझे इच्छामृत्यु की इजाजत देने की कृपा करें। यह सिर्फ मेरा निर्णय है। इसके लिए मैं किसी को दोषी नहीं मानता हूं।
कुलपति ने जांच कमेटी बनाई
प्रो. डीडी बेदिया और प्रो. कामरान के बीच मारपीट की घटना को कुलपति डॉ. अखिलेश पांडेय ने दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए कहा कि वे खुद इस पर शर्मिंदा हैं। उन्होंने बताया कि बेदिया को इंजीनियरिंग और हॉस्टल वार्डन पद से तत्काल प्रभाव से हटा दिया गया है। उनकी जगह डॉ दीपक गुप्ता को MBA डिपार्टमेंट और डॉ गणपत अहिरवार को इंजीनियरिंग डिपार्टमेंट का HOD बनाया गया है। MBA हॉस्टल का प्रभार डॉ मनु गोराहा को दिया गया है।
चार सदस्यीय कमेटी करेगी जांच
कुलपति डॉ पांडेय ने प्रो बेदिया और प्रो कामरान के बीच मारपीट की जांच के लिए चार सदस्यीय कमेटी बनाई है। घटना की जांच के लिए कुलानुशासक, अधिष्ठाता छात्र कल्याण, अध्यक्ष शिक्षक संघ और उप कुलसचिव प्रशासन विभाग को जांच समिति का सदस्य बनाया गया है।
एक महीने तक रोज हाजिरी लगाएंगे दोनों प्रोफेसर
दोनों प्रोफेसरों को नोटिस जारी किए गए हैं। अगले एक महीने तक उन्हें सुबह-शाम कुलपति या कुलसचिव के ऑफिस जाकर साइन करने होंगे। इधर कुलपति ने बताया कि छात्रों ने शिकायत की है कि ये दोनों प्रोफेसर क्लास में भी नहीं जाते हैं। इस पर भी कार्रवाई की जा रही है।
छात्र संगठनों ने प्रोफेसरों पर कार्रवाई की मांग की
घटना को लेकर शनिवार को ABVP और NSUI ने कुलपति से मिलकर दोनों प्रोफेसरों पर कार्रवाई की मांग की है। ABVP ने घटनास्थल को पानी से धोकर नाराजगी जाहिर की। वहीं, NSUI ने यूनिवर्सिटी से कड़ी कार्रवाई की मांग की।


