Gold Silver

अगले दो दिन भी तेज हवा चलने का अलर्ट, बारिश होने की भी संभावना

जयपुर। उत्तर भारत में सक्रिय हुए वेस्र्टन डिस्र्टबेंस के कारण राजस्थान में कल मौसम में बदलाव हुआ। राज्य के कई शहरों में 30 से लेकर 70्यरू स्पीड से तेज आंधी चली। इससे कई जगह पेड़-पौधे और कच्चे स्ट्रक्चर गिर गए। तेज बिजली कडक़ने और तूफान के बीच जयपुर, जोधपुर, चूरू, अलवर, टोंक समेत कई शहरों में बारिश भी हुई, जबकि कुछ जगह ओले भी गिरे। मौसम के इस बदलाव से एक तरफ लोगों को तेज गर्मी से राहत मिली। वहीं कई जगह पेड़-पौधे गिरने और टीनशेड स्ट्रक्चर, दीवार गिरने से जान-माल का नुकसान हुआ। मौसम विशेषज्ञों की माने तो मौसम का असर अभी दो दिन और ऐसा ही बना रहने की संभावना है।
पिछले 24 घंटे की रिपोर्ट देखे तो पश्चिमी राजस्थान के बीकानेर, चूरू, जोधपुर, जैसलमेर से शुरू हुई आंधी बारिश धीरे-धीरे पूर्वी राजस्थान तक आ गई। सीकर, जयपुर, अलवर, झुंझुनूं, टोंक जिलों में देर शाम तेज आंधी चलने के बाद कई जगह बारिश हुई। जयपुर के दूदू में तेज हवा से एक कच्चे मकान की दीवार गिर गई, जिससे एक आठ साल की बच्ची की मौत हो गई, जबकि उसके परिवार के अन्य सदस्य घायल हो गए। तेज आंधी के कारण जयपुर शहर में पेड़ गिरने से ट्रेफिक जाम हो गया और ग्रामीण इलाकों में बिजली चली गई।
यहां चली इतनी तेज आंधी
जयपुर मौसम केन्द्र के ऑटोमैटिक वेस्टर सिस्टम पर अपलोड डेटा के मुताबिक जयपुर में कल अधिकतम 68 किलोमीटर प्रतिघंटा, जैसलमेर 46 किलोमीटर, बीकानेर में 33, अजमेर 63, जोधपुर 65, चूरू 56 और करौली में 70 किलोमीटर स्पीड से तेज धूलभरी आंधी चली।
10 डिग्री सेल्सियस तक गिरा पारा
राज्य में आंधी-बारिश और ओलावृष्टि के कारण तापमान में भी बड़ी गिरावट हुई। राजधानी जयपुर में एक दिन पहले (शनिवार रात) न्यूनतम तापमान बढक़र 31.3 डिग्री सेल्सियस पर पहुंच गया था, जो बीती रात (रविवार रात) गिरकर 21.8 डिग्री सेल्सियस पर आ गया। अजमेर में भी इसी तरह न्यूनतम तापमान 28.7 डिग्री सेल्सियस से गिरकर 20.4 पर दर्ज हुआ। इधर गंगानगर, जैसलमेर, बाड़मेर में भी न्यूनतम तापमान में 2 डिग्री सेल्सियस तक की गिरावट हुई।
इसलिए आया इतनी तेज आंधी
मौसम विशेषज्ञों के मुताबिक राजस्थान-पाकिस्तान सीमा पर बीकानेर के नजदीक एक साइक्लोनिक सर्कुलेशन बना है। इसकी इंटेनसिटी ज्यादा होने से एक ट्रफ लाइन राजस्थान हरियाणा और दिल्ली से होकर गुजर रही है। वातावरण में नमी का लेवल कम होने के कारण हवाएं सूखी और तेज चली। मौसम विशेषज्ञों के मुताबिक अप्रैल-मई में जो वेस्र्टन डिस्र्टबेंस आते हैं। उनमें मोइश्चर लेवल बहुत कम होता। इसके कारण बादल तो बन जाते है, लेकिन बारिश कम होती है। आंधी ज्यादा चलती है।
जोधपुर के देचू तहसील में कल देर शाम आए तेज अंधड़ के कारण खेत में खड़ा एक बड़ा खेजड़ी का पड़े जड़ सहित उखडक़र गिर गया।
जोधपुर के देचू तहसील में कल देर शाम आए तेज अंधड़ के कारण खेत में खड़ा एक बड़ा खेजड़ी का पड़े जड़ सहित उखडक़र गिर गया।
अब आगे क्या?
जयपुर मौसम केन्द्र से जारी लॉन्गरेंज फोरकास्ट के मुताबिक 17 मई तक इस सिस्टम का असर बना रहता है। अगले दो दिन राज्य के कई शहरों में 40-50 किलोमीटर स्पीड की तेज धूलभरी हवा चलने के साथ कहीं-कहीं हल्के बादल छा सकते हैं। बूंदाबांदी भी हो सकती है। इस सिस्टम का सर्वाधिक असर बीकानेर संभाग के बीकानेर, चूरू, हनुमानगढ़, जोधपुर संभाग के जैसलमेर, जोधपुर, अजमेर संभाग के नागौर और जयपुर संभाग के सीकर, झुंझुनूं, दौसा और अलवर में जिले में देखने को मिल सकता है।

Join Whatsapp 26