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नया विवाद:डॉक्टर्स बोले घर पर मरीजों को देखने की फीस दोगुना करो, वरना काम बंद, काली पट्टी बांधकर किया काम

जयपुर। लेकिन सवाल ये भी 6सरकारी अस्पताल में छह घंटे का है ओपीडी टाइम निर्धारित है लेकिन क्या सभी डॉक्टर्स समय पर आते हैं? 6अभी मेडिकल कॉलेज के अस्पतालों में सुबह आठ बजे ओपीडी शुरू होती है लेकिन क्या डॉक्टर्स नौ बजे तक आते हैं और मरीजों को देखते हैं? 6दोपहर एक बजे बाद क्या सीनियर डॉक्टर्स मरीजों को देखते हैं?
लेकिन सवाल ये भी 6सरकारी अस्पताल में छह घंटे का है ओपीडी टाइम निर्धारित है लेकिन क्या सभी डॉक्टर्स समय पर आते हैं? 6अभी मेडिकल कॉलेज के अस्पतालों में सुबह आठ बजे ओपीडी शुरू होती है लेकिन क्या डॉक्टर्स नौ बजे तक आते हैं और मरीजों को देखते हैं? 6दोपहर एक बजे बाद क्या सीनियर डॉक्टर्स मरीजों को देखते हैं?
राइट टू हेल्थ का विवाद अभी शांत भी नहीं हुआ था कि अब मेडिकल टीचर्स ने सरकार के सामने नई मांग रखते हुए विरोध शुरू कर दिया है। सरकारी डॉक्टर्स घर पर पेशेंट को देखने की फीस दोगुना करना चाहते हैं। यहां तक कि वे निजी अस्पतालों में ऑपरेशन की भी अनुमति चाह रहे हैं। इन दो मांगों के चलते ज्वाइंट एक्शन कमेटी के आह्वान पर सभी सरकारी मेडिकल कॉलेज की फैकल्टी ने शुक्रवार को काली पट्टी बांधकर सरकार का ध्यानाकर्षण कराया है।
साथ ही चेतावनी भी दी है कि यदि सांकेतिक आंदोलन से बात नहीं बनी तो वे फिर से कार्य बहिष्कार करेंगे। ज्वाइंट एक्शन कमेटी के कार्डिनेटर डॉ. सुशील भाटी और अरिसदा के अध्यक्ष डॉ. अजय चौधरी ने कहा कि वर्ष 2011 में सरकार ने घर पर मरीज देखने की फीस निर्धारित की थी, जो अभी तक नहीं बढ़ाई गई। ऐसे में परामर्श शुल्क में बढ़ोतरी समेत दस सूत्री मांगों को लेकर आंदोलन शुरू किया है।
यह है परामर्श शुल्क का गणित
मौजूदा शुल्क शुल्क बढ़ोत्तरी की मांग सहायक प्रोफेसर
100 200 एसोसिएट प्रोफेसर
125 300 प्रोफेसर
150 400 सीनियर प्रोफेसर
200 500 –
ये भी हैं मेडिकल टीचर्स की मांगें
राजस्थान मेडिकल एजुकेशन सर्विसेज का पृथक कैडर का गठन
डीजीएमई और निदेशक के पद पर वरिष्ठ चिकित्सक शिक्षक को लगाया जाए
सीनियर प्रोफेसर के बाद हायर एडमिनिस्ट्रेटिव ग्रेड पद पर एक और प्रमोशन
2014 से 2018 के बीच डीएसीपी प्रमोशन के प्रभावी दिनांक से देय भुगतान दिया जाए
एकेडमिक अलाउंस में रिवीजन, हाई रिस्क अलाउंस और मासिक टेलीफोन राशि की शुरूआत
परामर्श शुल्क को डीए से अटैच किया जाए, सालाना 10 फीसदी की बढ़ोत्तरी
सातवें वेतन आयोग में पे फिक्सेशन में एनपीए लेने और नहीं लेने वाले समकक्ष चिकित्सक शिक्षकों के बीच मूल वेतन में उत्पन्न हुई विसंगति को पे स्टेपिंग से दूर किया जाए
एनएमसी निरीक्षण के लिए तबादले बन्द किए जाए, विदेश यात्रा की अनुमति प्रिंसिपल कार्यालय से ही मिले
जो वरिष्ठ प्रदर्शक एनएमसी की गाइडलाइन के अनुसार सहायक आचार्य पद की योग्यता रखते है, उन्हें एकसाथ नवीन पद सृजित कर पदोन्नति दी जाए

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