
डॉक्टर्स का सरकार को अल्टीमेटम, कार्रवाई की तो टकराव बढ़ेगा, हेल्थ बिल के विरोध में निकाला पैदल मार्च, हजारों की संख्या में जुटे डॉक्टर्स






खुलासा न्यूज बीकानेर। राइट टू हेल्थ बिल के विरोध में सड़कों पर उतरे डॉक्टरों को कार्रवाई का डर सताने लगा है। डर है कि सरकार पुलिस केस या अन्य एक्शन के जरिए उन्हें परेशान कर सकती है। वहीं, रेजीडेंट्स डॉक्टर्स पर भी मेडिकल कॉलेज या सरकार की तरफ से एक्शन लिए जाने का डर सता रहा है। इन आशंकाओं को देखते हुए आंदोलनरत डॉक्टरों के पदाधिकारियों ने सरकार को चेताया है। प्राइवेट हॉस्पिटल एवं नर्सिंग सोसाइटी के प्रदेश सचिव डॉ. विजय कपूर ने कहा कि हड़ताल को समर्थन दे रहे रेजिडेंट डॉक्टर्स और दूसरे डॉक्टरों पर सरकार किसी तरह का दबाव ना बनाए। अगर सरकार इन डॉक्टर्स पर कोई करवाई करती है तो हमारा आक्रोश और बढ़ेगा। इन डॉक्टर्स का एक समूह सोमवार को एसएमएस मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल डॉ राजीव बगरट्टा से भी मिला है। उन्होंने प्रिंसिपल से कहा कि वह रेजिडेंट्स पर किसी तरह की कार्रवाई न करें। उधर, राइट टू हेल्थ बिल के विरोध में सोमवार को जयपुर में डॉक्टर्स ने शक्ति प्रदर्शन किया। जिसमें पूरे प्रदेश से हजारों की संख्या में डॉक्टर्स जुटे। जिसमें बीकानेर से भी बड़ी संख्या में डॉक्टर्स शामिल हुए। इन डॉक्टरों ने जयपुर में एसएमएस मेडिकल कॉलेज के बाहर से पैदल मार्च निकाला। इधर, बिल के विरोध और डॉक्टरों के समर्थन में आज इंडियन मेडिकल एसोसिएशन ने देशव्यापी बंद का आह्वान किया है, जिसमें मेडिकल सर्विस बंद करने की बात कही है। पैदल मार्च 11 बजे के करीब एसएमएस मेडिकल कॉलेज से शुरू हुआ, जो गोखले हॉस्टल मार्ग, सूचना केंद्र टोंक रोड, महारानी कॉलेज तिराहा, अशोक मार्ग, राजपूत सभा भवन, पांच बत्ती, एमआई रोड, अजमेरी गेट, न्यू गेट, अल्बर्ट हॉल, होते हुए वापस मेडिकल कॉलेज पहुंचकर खत्म हुआ। इस दौरान डॉक्टर्स 4.5 किलोमीटर पैदल चले।
रेजिडेंट्स की हड़ताल जारी, सीनियर्स ने किया दो घंटे कार्य बहिष्कार
जयपुर समेत प्रदेश के दूसरे शहरों के सरकारी मेडिकल कॉलेजों से जुड़े हॉस्पिटलों में आज भी रेजिडेंट्स हड़ताल पर है। पिछले 7 दिन से ज्यादा समय से रेजिडेंट्स के हड़ताल पर रहने के कारण जयपुर के एसएमएस समेत दूसरे हॉस्पिटलों में मरीजों की परेशानी लगातार बढ़ती जा रही है। यहां ओपीडी के साथ ही आईपीडी में भी मरीजों की संख्या सामान्य दिनों के मुकाबले कम हो गई। वहीं, बीकानेर संभाग के सबसे बड़े हॉस्पिटल पीबीएम में सोमवार को सीनियर डॉक्टर्स ने भी दो घंटे पेन डाउन हड़ताल की। जिससे मरीज काफी परेशान होते दिखे।


