
कलेक्टर को चैलेंज करके मशहूर हुईं, इस आदिवासी छात्रा का क्या है सपना






मध्यप्रदेश के झाबुआ में प्रदर्शन के दौरान कलेक्टर को चैलेंज करने वाली आदिवासी छात्रा निर्मला का आक्रामक अंदाज पूरे देश में चर्चा में है। इस लड़की का इंटरव्यू किया। वह बोली- ये अफसर पब्लिक के लिए ही हैं और हमारी ही नहीं सुनते। ये लोग पांच मिनट धूप में खड़े नहीं रह सकते, हम दो से तीन घंटे तक वहां धूप में प्रदर्शन कर उन्हें बुलाते रहे। ये हमारी बात सुनने नहीं आए, इसलिए गुस्सा था।
निर्मला शासकीय गर्ल्स कॉलेज में BA फर्स्ट ईयर की छात्रा है। उसका कहना है कि लोगों को अपने अधिकारों के लिए खुद ही लड़ना होगा। इधर, मामला बढ़ने के बाद निर्मला को कलेक्टर सोमेश मिश्रा ने शुक्रवार को मिलने बुलाया है। कलेक्टर का कहना है कि मैं उनसे नहीं मिल पाया। उनकी मांगों की जानकारी मुझे है, जिसे जल्द हल किया जाएगा।
कलेक्टर नहीं बनना, आर्मी में जाना चाहती हूं
इस बेबाक लड़की से बातचीत की, तो उसने कहा- मैं आर्मी में जाना चाहती हूं। मुझे सच बोलना पसंद है। यही सोचती रहती हूं कि अपनी बात कैसे दूसरे के सामने रखूं ? दिमाग में हर समय यही चलता है। सिस्टम की लचर व्यवस्था के खिलाफ शुरू से ही गुस्सा है। पहले ये गुस्सा कम था। अब बढ़ने लगा है। मेरे पास मोबाइल नहीं है। हम 7 भाई-बहन हैं। आर्मी पसंद है, इसलिए आर्मी में जाकर देश सेवा करना चाहती हूं।


