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महापौर ने अपनी कमियां छुपाने के लिए आयुक्त गोपाल राम बिरदा को बनाया मोहरा

बीकानेर। महापौर व निगम आयुक्त गोपालराम बिरदा का आपसी झगड़ा जगजाहिर है महापौर आये दिन आयुक्त पर आरोप लगाती नजर आ रही है। परंतु असल में कहानी कुछ ओर है क्योकि महापौर ने अब शहर के विकास के लिए कोई ऐसा काम नही किया है जिससे के जनता के सामने जा सके और आने वाले विधानसभा में अपनी पैरवी कर सके जनता पूरी तरह से महापौर को नकार चुकी है क्योंकि सबसे कम विकास और सडक़ों के बुरे हाल इसी कार्येकाल में हुए है सबसे बड़ी बात ये है कि महापौर की इस नेगेटिव इमेज का खामयाजा मंत्री अर्जुनराम को भुगतना पड़ेगा।। चुनाव के नजदीक आते ही महापौर साहिबा को शहर का विकास दिखने लगा है बारिश के दिनों में शहर की जो हालात हुई वो किसी से छुपे नहीं है। लेकिन महापौर अपने बंगले से बाहर तक नहीं आई। जिसमें नगर निगम में महापौर के बिना पत्ता तक
नहीं हिल सकता उसमें भी महापौर स्वयं एक सवैधानिक पद पर रहते हुए निगम की कमियां बाहर आ रही है इसका मतलब साफ है महापौर की खुद निगम में नही चलती अपने निगम की कमियां बाहर जनता के सामने पेश कर रही है और सब आयुक्त गोपालराम बिरदा को नीचा दिखाने के लिए कर रही है। महापौर अपनी कमियां छुपाने के लिए आयुक्त को पूरी तरह से मोहरा बना लिया है। क्योकि जनता को बीकानेर का विकास चाहिए वो बिल्कुल भी नही है अब जनता हिसाब मांग रही है तो इन सब को छुपाने के लिए आयुक्त पर आरोप लगा दिये कि आयुक्त शहर के विकास में रोड़ा बने हुए है जबकि असल में यह सभी की मिलभगत है। महापौर ने आयुक्त को हटाने के लिए धरना तक दिया। इस पर मामले को ठंडे बस्ते में डालने के लिए सरकार ने आयुक्त को कुछ दिन अवकाश पर भेज दिया और बाद में आयुक्त के वापस अपनी सीट पर आकर कार्य ग्रहण किया। इसमें महापौर की जमकर किरीकिरी हुई। अब एक बार फिर महापौर आयुक्त के खिलाफ मोर्च खोलते हुए आरोप लगाया है और तो और अब तो सार्वजनिक हॉडिग लगाकर जनता को बताया है कि आयुक्त शहर का विकास नहीं होने दे रहे। लेकिन असल में ऐसानहीं है महापौर स्वयं काम करने की इच्छुक नहीं है महापौर को तो हर दो महिने बाद आयुक्त को मोहरा बनाकर बीकानेर की जनता को मुर्ख बना रही है। ये सब आने वाली विधानसभा सीट के लिए किया जा रहा है क्योंकि कुछ दिन पहले एक घटना हुई जिसमें देवी सिंह भाटी के पांव छूते नजर आए थे महापौर के ससुर जिसमे ये साफ नजर आ रहा है कि ये सिर्फ अपनी राजनीति के लिए किया जा रहा है ताकि अगर पार्टी कही टिकट दे तो कम से कम भाटी के द्वारा राजपूतो का बड़ा वोट बैंक हासिल कर सके ।

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