प्रदेश में पहली बार पुलिस के पहरे में हुई बीटीयू की बॉम की बैठक - Khulasa Online प्रदेश में पहली बार पुलिस के पहरे में हुई बीटीयू की बॉम की बैठक - Khulasa Online

प्रदेश में पहली बार पुलिस के पहरे में हुई बीटीयू की बॉम की बैठक

बीकानेर। छात्र आन्दोलन ओर प्रदर्शन को लेकर तो शिक्षा के मंदिर में खाकी की जरूरत पड़ती है। पर ऐसा पहली बार हुआ कि किसी विवि में पुलिस के पहरे में बोम की बैठक हुई। ऐसा हुआ
बीकानेर तकनीक यूनिवर्सिटी की तीसरी बोम की बैठक के संचालन के लिए कुलसचिव को पुलिस की सुरक्षा बुलानी पड़ी। जिसकी वजह तकनीकी विवि में व्याप्त भ्रष्टाचार की शिकायत पर संज्ञान लेते हुए बोम सदस्यो ने नियमानुसार कार्यवाही की अनुशंसा राज्य सरकार ओर तकनीकी विभाग को की। शिकायत के आधार पर बोम बैठक में हंगामा होने के डर से कुलसचिव ने बैठक स्थल के बाहर पुलिस का पहरा बैठा दिया। बताया जा रहा है कि
भ्रष्टाचार में लिप्त कुलसचिव ओर कुलपति की जब शिकायत सुरेंद्र जाखड़ ने सभी बॉम के सदस्यों को उनकी शिकायत के जरिये ई मेल कर के अवगत करवाया।
यही नहीं जब सुरेंद्र जाखड़ ने सरकार की ओर से नामित बोम सदस्य सादुलशहर विधायक जगदीश जांगिड़ को शिकायत के दस्तावेज प्रस्तुत करने के लिए कॉलेज गए तो जाखड़ को कॉलेज के अंदर जाने के लिए मना कर दिया।
जब पूछा गया की ऐसा क्यों तो सिक्योरिटी ने कहा कि कुलसचिव और कुलपति को आप को नाम से अंदर जाने लिए सख्त मना किया हैं। और अन्दर ना आ जाए इसलिए पुलिस जाब्ता बुलाया है।बाद में जांगिड़ के निर्देश पर जाखड़ को अंदर बुलाया और उनकी बात सुनी। तथा दस्तावेज लेकर सरकार को अवगत करवाने की बात कही।
आखिर सरकार की क्या है मजबूरी
तकनीकी विवि ओर ईसीबी में लगातार भ्र्ष्टाचार की शिकायतें आने और इसकी पुष्टि होने के बाद भी भाजपा की तरह कांग्रेस की सरकार भी आँखे मूंदे बैठी है। सरकार और विभाग को पूरी जानकारी होने के उपरांत भी लिप्त अधिकारियों और कार्मिको पर कार्यवाही न होना सरकार को संदेह के कटघरे में खड़ा करती है। पारदर्शी सरकार देने का दावा करने वाले सीएम अशोक गहलोत भी तकनीकी विवि,ईसीबी ओर तकनीकी विभाग के भ्रष्टाचार के सामने मानो लाचार नजर आ रहे हैं

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