बब्बर शेर भी आया कोरोना की चपेट में - Khulasa Online बब्बर शेर भी आया कोरोना की चपेट में - Khulasa Online

बब्बर शेर भी आया कोरोना की चपेट में

जयपुर। जयपुर चिडिय़ाघर के बब्बर शेर त्रिपुर की कोरोना रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। इसके अलावा इसी चिडिय़ाघर में एक सफेद बाघ और एक अन्य शेर को भी कोरोना संदिग्ध पाया गया है। हैदराबाद और उत्तर प्रदेश के बाद अब राजस्थान में भी एशियाई शेरों में कोरोना संक्रमण का मामला सामने आया है। जयपुर चिडिय़ाघर के बब्बर शेर त्रिपुर की कोरोना रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। इसके अलावा इसी चिडिय़ाघर में एक सफेद बाघ और एक अन्य शेर को भी कोरोना संदिग्ध पाया गया है। ये तीनों शेर पिछले लंबे वक्त से जयपुर दिल्ली हाइवे पर नाहरगढ़ बॉयोलोजिकल पार्क में स्थित लॉयन सफारी में रह रहे है।
इन शेरों के सैंपलों की जांच यूपी के बरेली में स्थित ढ्ढङ्कक्रढ्ढ यानी भारतीय पशु चिकित्सा अनुसंधान संस्थान में की गई है। सूत्रों के मुताबिक संस्थान के संयुक्त निदेशक (कैडेरेड) डॉ. केपी सिंह ने रिपोर्ट की पुष्टि की है। वहीं, दूसरी तरफ नाहरगढ़ बॉयोलोजिकल पार्क में सीनियर वाइल्ड लाइफ मेडिकल ऑफिसर डॉ. अरविंद माथुर का कहना है कि उनको अभी तक त्रिपुर के कोरोना पॉजिटिव होने की रिपोर्ट नहीं मिली है। वे इस रिपोर्ट की पुष्टि नहीं कर रहे है। हैदराबाद में शेरों में कोरोना संक्रमण के बाद जयपुर में शेरों के सैंपल लिए थे सूत्रों के अनुसार पिछले दिनों हैदराबाद के नेहरू जूलॉजिकल पार्क में सबसे पहले आठ एशियाटिक शेरों में कोरोना के लक्षण पाए गए थे। इसके बाद उत्तर प्रदेश के इटावा स्थित लॉयन सफारी में शेर के कोरोना संक्रमण पाया गया। तब जयपुर चिडिय़ाघर के अंतर्गत लॉयन सफारी में जानवरों के 13 सैंपल बरेली स्थित भारतीय पशु चिकित्सा अनुसंधान संस्थान में जांच के लिए भेजे गए थे। इसमें त्रिपुर में कोरोना संक्रमण की पुष्टि हुई है। जबकि, दो अन्य शेरों में लक्षण होना बताया है। लेकिन, सैंपल में पुष्टि नहीं हुई है। इनके सैंपल दोबारा ढ्ढङ्कक्रढ्ढ भेजे जाएंगे। वहीं, जयपुर चिडिय़ाघर के एक शेर, दो बाघ और एक पैंथर के सैंपल की जांच रिपोर्ट निगेटिव होने की जानकारी है। 2018 में जयपुर में लॉयन सफारी की शुरुआत जयपुर के नाहरगढ़ बायोलॉजिकल पार्क में राजस्थान की पहली लॉयन सफारी 2018 में शुरू हुई थी। इस पार्क में ही लगभग 36 हेक्टेयर में लॉयन सफारी बनी हुई है। इसमें पहले 4 एशियाई शेर थे, जिनमें से कैलाश और तेजस की मौत हो चुकी है। अब लॉयन सफारी में शेरनी तारा और त्रिपुर ही है। यहां सबसे पहले जूनागढ़ गुजरात से तेजिका नाम की शेरनी को जयपुर चिडिय़ाघर लाया गया था। बाद में, इनको लॉयन सफारी में शिफ्ट कर दिया था। तेजिका की तीन साल पहले मौत हो चुकी है। उसने तीन बच्चे दिए थे। इनमें त्रिपुर, तारा और तेजस थे। ये तीनों सफारी में साथ ही रहते थे। पिछले साल तेजस की भी मौत हो गई।

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